Vitamin E विटामिन साफ सुथरी त्वचा और स्किन की देखभाल करते है, जुर्रिया और फाइन लाइन्स का इलाज कर सकते हैं और हाइपरपिग्मेंटेशन को कम कर सकते हैं। मूल रूप से, आपकी त्वचा की हर समस्या के लिए एक विटामिन मौजूद है – आपको बस यह जानना है कि कौन सा आपकी स्किन के लिए फायदेमंद है।
क्या विटामिन का सेवन आपकी त्वचा को मदद कर सकता है?
विटामिन्स को सिर्फ चेहरे पर लगाने से स्किन की समस्या खत्म नहीं होती, ऐसा इसलिए है क्योंकि विटामिन का सेवन करना चेहरे पर लगाना दोनों में काफी अंतर है, अगर आप बहुत सारे विटामिन का सेवन करते हैं, तो वे आपके शरीर में और आपकी त्वचा पर हर जगह जाएंगे न केवल आपके चेहरे पर, इससे यह होगा कि विटामिंस अंदरूनी हिस्से में जाकर जो भी खराबी होगी उसे यूरिन के द्वारा बाहर निकालते हैं इससे हमें ग्लोइंग स्किन मिल सकती है।
त्वचा की देखभाल के लिए सबसे अच्छा विटामिन:
हम जानते हैं कि विटामिन हमारी हैल्थ लिए इंपॉर्टेंट रोल प्ले करते हैं, चलिए जानते हैं फिर वह कौन से विटामिन है जो हमारी त्वचा के साथ हमारे स्वास्थ्य के लिए भी बहुत फायदेमंद है।
स्किन को हेल्दी रखने के लिए और उसे अच्छे से मेंटेन करने के लिए आपकी डाइट में विटामिंस मिनरल्स न्यूट्रिएंट्स लेना बहुत जरूरी है हर एक चीज इंपोर्टेंट रोल निभाती है सही विटामिंस और न्यूट्रिएंट्स मिलने के लिए हेल्दी और बैलेंस डाइट लेना बहुत जरूरी है।
पिंपल्स, एक्ने, ड्राई स्किन, डल, लस्टरलेस स्किन जैसे स्किन समस्या में विटामिन ई बहुत यूजफुल साबित होता है।
विटामिन ई क्या है?
विटामिन ई एक एंटीऑक्सिडेंट है जो प्राकृतिक रूप से नट्स, बीज और पत्तेदार हरी सब्जियों जैसे खाद्य पदार्थों में होता है। विटामिन ई एक वसा में घुलनशील विटामिन है जो शरीर में कई प्रक्रियाओं के लिए महत्वपूर्ण है।
विटामिन ई एक फेट सोलबल और एस्संटेल न्यूट्रिएंट्स है जिसमें एंटी इन्फ्लेमेटरी प्रॉपर्टीज भी होती है विटामिन ई एक सिंगल विटामिन नहीं है यहां एक सेठ और सॉलबल विटामिंस का ग्रुप है।
What is the type of Vitamin E : विटामिन ई के प्रकार क्या है?
विटामिन ई के नेचुरलई 8 अलग-अलग फॉर्म में अवेलेबल होते हैं जो है, आल्फा, बीटा, गामा, डेल्टा, टोकॉट्रिएनॉल, और टेकोफॉरेल। नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ हेल्थ के अनुसार टेकोफॉरेल यह एक ऐसा फॉर्म है जिसकी हमें बहुत जरूरत होती है।
How Vitamin E helps skin? विटामिन ई स्किन के लिए कैसे फायदेमंद है:
विटामिन ई एक एंटी ऑक्सीडेंट है जो आपको फ्री रेडिकल्स से होने वाले डैमेज से बचाता है। यह आपकी बॉडी से हार्मफुल टॉक्सिंस को दूर करता है या आपकी स्किन को हार्मफुल यूवी किरणों से बचाता है स्किन कैंसर एजिंग फोटो करने मेंडैमेज स्किन से प्रिवेंट करता है।
लेकिन ध्यान रहे कि यह एलर्जी फ्री एक्शन या इंफेक्शन से होने वाले स्कीन इचिंग को कम नहीं कर सकता। ड्राई स्किन से होने वाले इचिंग को। टेंप्रली दूर कर सकता है। इसमें मोर्सराइजिंग और हीलिंग प्रॉपर्टीज भी है जो आपकी स्किन को हेल्दी रखने में मदद करता है।
विटामिन ई आपकी स्किन को अंदर से नरीश करता है। विटामिन ई फाइन लाइन रिंकल्स इसका को दूर करने में मदद करता है। विटामिन ई डार्क सर्कल को भी रिड्यूस करने का काम करता है। यह आपको सन डेमेज से भी बचाता है।
विटामिन ई ऑयल और एलोवेरा जेल :
जितने भी कॉस्मेटिक प्रोडक्ट होते हैं चाहे फेस वाश हो, बॉडी लोशन हो या शैंपू हो सभी में विटामिन ई की कुछ ना कुछ क्वांटिटी जरूर होती है।
Vitamin E आपके स्किन के ब्लड सरकुलेशन को बढ़ाती है। इसमें एंटी ऑक्सीडेंट प्रॉपर्टीज अधिक मात्रा में पाया जाता है जो आपकी सावली स्किन पर व्हाइटनिंग प्रॉपर्टीज को भी बढ़ाती है। व्हाइटनिंग प्रॉपर्टी इसका मतलब यह नहीं कि आप गोरे हो जाएंगे लेकिन अगर आपकी स्किन डैमेज हो चुकी है तो उसे ठीक करने में विटामिन ई और एलोवेरा का जेल काफी हद तक फायदेमंद साबित हो सकता है।
विटामिन E कैप्सूल खाने के फायदे और नुकसान
विटामिन ई और एलोवेरा जेल को उपयोग करने का सही तरीका: The right way to use Vitamin E and Aloe Vera Gel:
सामग्री:
विटामिन ई कैप्सूल
एलोवेरा
रीत:
सबसे पहले आप मार्केट से कोई भी स्टोर से विटामिन ई कैप्सूल को खरीदें।
उसके बाद आपको कैप्सूल के ऊपर जो पड होता है उसको निकालना है।
अगर आपके घर में एलोवेरा प्लांट है आप एलोवेरा प्लांट का कुछ हिस्सा निकाल कर यानी एलोवेरा को एग्ज़िट कर के एक बाउल में निकाल ले।
आप बाजार से भी एलोवेरा जेल खरीद सकते हैं।
आधा चम्मच एलोवेरा जेल में आपको दो विटामिन ई कैप्सूल मिलाने हैं।
फिर इन दोनों इंग्रेडिएंट्स को अच्छे से स्पून की मदद से मिक्स करने हैं।
हमारी जो रेमेडी है वो तैयार है।
अब आपको अपना फेस पानी से वॉश कर लेना है।
उसके बाद आपको यह मिक्सचर अपने चेहरे पर लगाना है।
इस मिक्सचर को लगाने के बाद आप अपने चेहरे को 2 से 3 मिनट तक अपने चेहरे की मसाज करें बाद में लगभग आधे घंटे के लिए इसे ऐसे ही छोड़ दें।
आधे घंटे के बाद नोर्मल वॉटर से आप अपना चेहरा धो लें।
यह प्रोसेस आप सुबह में भी कर सकते हैं या फिर रात को सोने के टाइम पर भी कर सकते हैं।
ये नुस्खा आप रोज आजमा सकते है।
विटामिन ई और ग्लिसरीन: vitamin E and glycerine:
सामग्री:
1 चम्मच गुलाब जल
1 चम्मच ग्लिसरीन
2 विटामिन ई कैप्सूल
रीत:
सबसे पहले इन सभी चीजों को एक बाउल में निकाले उन सभी को अच्छे से मिक्स कर ले।
मिक्स करने के बाद में अपने क्लीन फेस पर इसको अब अप्लाई करें।
अप्लाई करने के बाद 3 से 4 घंटे इसको ऐसे ही छोड़ दें।
यहां चाहे तो इसको रात भर ऐसे ही लगाए रखें और अगले दिन सुबह उठकर अपना चेहरा निर्मल पानी से साफ कर ले।
ये नुस्खा आपको सिर्फ हफ्ते में एक बार ही यूज करना होता है।
बालों के लिए विटामिन ई: Vitamin E for hair:
कभी आपने गौर फरमाया है कि इतने सारे ऑयल आते हैं वह सब बोतल में आते हैं लेकिन विटामिन E कैप्सूल में क्यों आता है? इसीलिए आता है क्योंकि विटामिन ई ऑयल ऑक्सीजन के कांटेक्ट में आते ही खुद ओक्साइज हो जाता है। इसीलिए हम इसका कनसंनटनटली यूज कर है।
इस 3 रुपए की कैप्सूल से आप अपने हेयर ब्रेकेज को रोक सकते हैं और अगर आपके बालों में किसी भी प्रकार की अनमेनेजेबिलिटी है तो इसको भी फिक्स कर सकते हैं। ₹3 जी हां मात्र ₹3 की कैप्सूल से आप बर्दाश्त से बाहर डैमेज हुए बालों को पहले जैसा ही बना सकते हैं।
उमर से पहले अगर बाहर गिर जाते हैं तो आपके एक बाल की उम्र होती है 8 साल अगर आप उसे सही तरह से देखभाल करते हैं तो 8 साल तक टिक सकता है नहीं तो वह 2 साल में भी गिर सकता है।
विटामिन ई कैप्सूल का उपयोग बालों के लिए कैसे करें: How to use Vitamin E Capsule for hair?
- सबसे पहले आपको एक बॉउल में अपने बालों के अनुसार विटामिन ई कैप्सूल का ऑयल निकाले।
- फिर उस ऑयल को आप अपने फिंगर कि मदद से बालों की स्कैल्प में लगाएं।
- अच्छे से अप्लाई करने के बाद अपने बालों को बांध ले।
- विटामिन ई कैप्सूल अप्लाई करने के बाद अपने बालों को कंघी करने की कोशिश ना करें।
- 10 मिनट के बाद आप अपने बालों को धो लें।
विटामिन ई से बना हुआ हेयर ऑइल: Vitamin E hair oil:
जब हमारे बाल बहुत ही ज्यादा डैमेज हो जाते हैं तब हम किसी भी हेर ऑयल के साथ यह विटामिन ई कैप्सूल का यूज़ करते हैं। आपको विटामिन ई कैप्सूल के साथ कैरियर ऑयल का इस्तेमाल करना चाहिए। कौन-कौन से केरियर ऑयल है जिनके साथ हम विटामिन ई कैप्सूल का इस्तेमाल अपने बालों के लिए कर सकते हैं आइए जानते हैं।
कैरियर ऑयल वह होते हैं जिसकी थिकनेस को थोड़ा कम करता है। बहुत इजीली केरी करता है आपके रूट्स तक।
- केरियर ऑयल लिस्ट:
कोकोनट ऑयल
ऑलिव ऑयल
अलमेंड ऑयल
कस्टर्ड ऑयल
ऊपर बताए गए किसी भी ऑयल में आप विटामिन ई कैप्सूल मिलाकर अच्छे से मिक्स करके अपनी बालों पर लगाएं।
आप जब इसे लगाएंगे तो आपके बाल बहुत ही काम फील करेंगे। अप्लाई करने के बाद अपने बालों को बांध ले। 10 से 15 मिनट के बाद किसी भी हर्बल शैंपू से अपने बालों को धो ले।
विटामिन ई आपकी आंखों की रोशनी में कैसे मदद कर सकता है: How vitamin E can help your eyesight
- माना जाता है कि Vitamin E आंखों की कोशिकाओं को मुक्त रेडिकल्स नामक अस्थिर अणुओं से बचाता है, जो स्वस्थ आंखों के ऊतकों को तोड़ते हैं।
विटामिन ई कैप्सूल का उपयोग केसे करें?
विटामिन ई कैप्सूल आपको रात को सोने से पहले लेना चाहिए खाना खाने के बाद।
लेकिन ये आप नियमित रूप से ना लेे।
हफ्ते में 2 यां 3 बार लेना चाहिए।
विटामिन ई उत्पादों का उपयोग ठीक वैसे ही उपयोग करें जैसे लेबल पर लिखा गया हो, यां फिर आपके डॉक्टर द्वारा बताया गया हो।
यदि आप इसे भोजन के साथ लेते हैं तो विटामिन ई सबसे अच्छा काम करता है।
विटामिन ई के साइड इफेक्ट
सांस लेने में मुश्किल, चेहरे पे रेडनेस, होंठ, जीभ, या गले की सूजन।
ऊपर बताई गई कोई भी समस्या कर आपके साथ होती है तो विटामिन ई लेना बंद कर दें और अपने डॉक्टर से एक बार कंसल्ट जरूर करें।
विटामिन इ लेने के और भी साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं जैसे…
- सर दर्द होना
- चक्कर आना
- कमजोरी महसूस होना
- दसत
- पेट में ऐंठन
- नाक से खून बहना
- मसूड़ों से खून आना
- घबराहट महसूस होना
- चेहरे पर दाने फुंसी का बढ़ना
यह सभी विटामिन E के साइड इफेक्ट हो सकते हैं।यदि आपके पास इनमें से कोई भी लक्षण विटामिन ई से एलर्जी की प्रतिक्रिया के लक्षण हैं तो आप अपने डॉक्टर से सलाह लें।
विटामिन ई (टोकोफेरोल) टेस्ट क्या है? What is the Vitamin E (Tocopherol) Test?
विटामिन ई की टेस्ट आपके रक्त में विटामिन ई की मात्रा को मापता है। विटामिन ई (टोकोफेरोल या अल्फा-टोकोफेरोल के रूप में भी जाना जाता है) यह एक पोषक तत्व है जो शरीर की कई प्रक्रियाओं के लिए महत्वपूर्ण है।
यह आपकी नसों और मांसपेशियों को अच्छी तरह से काम करने में मदद करता है, रक्त के थक्कों को रोकता है और प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ाता है। विटामिन ई एक प्रकार का एंटीऑक्सीडेंट है, एक ऐसा पदार्थ जो कोशिकाओं को क्षति से बचाता है।
विटामिन ई के स्त्रोत: sources of Vitamin E:
अधिकांश लोगों को उनके आहार से विटामिन ई की सही मात्रा मिलती है। विटामिन ई प्राकृतिक रूप से कई खाद्य पदार्थों में पाया जाता है, जिनमें हरी पत्तेदार सब्जियां, नट्स, बीज और वनस्पति तेल शामिल हैं। यदि आपके शरीर में बहुत कम या बहुत अधिक विटामिन ई है, तो यह गंभीर स्वास्थ्य समस्याएं पैदा कर सकता है।
विटामिन ई के दूसरे नाम :
टोकोफेरोल परीक्षण, अल्फा-टोकोफेरोल परीक्षण, विटामिन ई, सीरम
पता करें कि क्या आपको अपने आहार में पर्याप्त मात्रा में विटामिन ई मिल रहा है
पता करें कि क्या आप पर्याप्त विटामिन ई को अपने आहार में ले रहे हैं। कुछ विकार शरीर के पाचन और विटामिन ई जैसे पोषक तत्वों का उपयोग करने के तरीके में समस्याएं पैदा करते हैं।
बच्चों में विटामिन ई की कमी: Vitamin E deficiency in children:
समय से पहले जन्म लेने वाले बच्चों की विटामिन ई स्थिति की जाँच करें। समय से पहले जन्म लेने वाले बच्चों में विटामिन ई की कमी का खतरा अधिक होता है, जो गंभीर जटिलताएं पैदा कर सकता है।
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताए गए किसी भी उपचार, तरीकों और उपाय को लोगों तक जानकारी पहुंचाने के लिए लिखा गया है। किसी भी उपाय को अपनाने से पहले पैच टेस्ट करे और अपने डॉक्टर की सलाह जरूर लें। Sakhihealth इस जानकारी के लिए जिम्मेदारी या दावा नहीं करता है।